समाजसेवी किशमिश गुरु मयपरिवार कांवरिया सेवा को रहते समर्पित।
ब्यूरो चीफ़ आनंद सिंह अन्ना
वाराणसी। दिनांक 29 जुलाई, बनारस में सावन में अनोखा कायक्रम होता है हर सावन के सोमवार को, एक बाबा काशी विश्वनाथ के परम भक्त का ऐसा भी परिवार बनारस के बांसफाटक में है जो पुरे साल वह और उनका परिवार पैसे को, रोज़ अपने होटल के इनकम और जन्मदिन पर मिले तथा त्योहारों पर मिले पैसे को साल भर तक पाँच अलग अलग गुल्लक में इकठ्ठा करते है और उस पैसे से भरे गुल्लक को सावन में फोड़ के हर सावन के रविवार की रात में लाइन में लगे कावडियो को चाय, पानी, बिस्कुट व फलाहार का वितरण करते है। बाबा के परम भक्त लक्ष्मीकांत मिश्रा उर्फ किशमिश गुरु पत्नी सुनीता मिश्रा, बेटे आदित्य मिश्रा, आदेश मिश्रा, बेटी अदिति मिश्रा के साथ 24 साल से निः स्वार्थ सेवा भाव करते आ रहे हैं। सावन के तीसरे सोमवार को 51 मन मुसंबी का रस निकाल कर निः स्वार्थ कावड़ियो को पिलाया और उनका सेवा भाव किया गया। सेवा भाव करने में उनके साथ प्रमुख रूप से पार्षद प्रमोद राय, पार्षद शंकर विसनानी, पार्षद सुनील यादव, ईशान श्रीवास्तव, प्रमोद वर्मा, गोपाल यादव, विवेक चतुर्बेदी, बृजेश कपूर, महेश यादव, अनुप मालवीय, महेश पुरोहित, पापे यादव, ब्रह्मदत त्रिपाठी, बबलू यादव, छोटा मिश्रा, विशाल सिंह, रविन्द्र सिंह, बलवंत सिंह, राहुल यादव, बबलू तिवारी, रवि जैन, गोविंद यादव, विज्जु यादव, शुभम यादव, केसरी नंदन दुबे, बल्लु रस्तोगी, सुमित मल्होत्र, इमरान बबलु, खुर्सीद भाई, मुदस्सिर मुजीब, बब्बु पांडेय, भैया लाल यादव, पीपी साहु, बसंत गुप्ता, गणेश गुप्ता, सुमित यादव, संजय यादव, कमल तिवारी, अजय तिवारी, अशोक राय, अमिताभ दीक्षित, अरुण आदि ने सक्रिय सहयोग किया।