Kashi ka News. सामाजिक आंदोलनों के गुरु अनिल चौधरी की याद यातनि पीड़ितों का सम्मान।

 सामाजिक आंदोलनों के गुरु अनिल चौधरी की याद यातनि पीड़ितों का सम्मान।

ब्यूरो चीफ़ आनंद सिंह अन्ना 

वाराणसी। दिनांक 20 सितंबर, पीड़ितों का इलाज चौधरी साहब इस तरह करते थे कि अपने आखिरी दिनों तक भी जख्मों पर मरहम लगा कर सामने वाले को राहत का अहसास करवाते थे। वे तीन बातों के लिए जाने जाएंगे संसार में: एक था सांप्रदायिकता का विनाश करो। दूसरा था लोकतंत्र की रक्षा में खड़े हो। तीसरा था भूमंडलीकरण का प्रतिरोध करो। इन तीन मंत्रों पर काम करने वाले भारत भर में उनके कई कमांडर मौजूद हैं। सामाजिक कार्यकर्ताओं और संगठनों के शिक्षक व पीस संस्था के संस्थापक रहे अनिल चौधरी की स्मृति में बनारस के पराड़कर भवन में आयोजित सभा की अध्यक्षता करते हुए गांधीवादी इतिहासकार डॉक्टर मोहम्मद आरिफ ने यह बात कही। जनमित्र न्यास, पीवीसीएचआर, आईआरसीटी, जीएचपीएफ, जस्टर और संयुक्त राष्ट्र की संस्था यूएनवीएफवीटी के संयुक्त तत्वाधान में आयोजित स्मृति सभा को संबोधित करते हुए डॉक्टर आरिफ ने कहा कि चौधरी साहब के जीवन का एक ही मकसद था, इंसाफ का राज कायम किया जाए ताकि कोई किसी का शोषण न कर सके और किसी के अधिकारों का क्षरण न होने पाए। यह सभा वीसीएचआर के वार्षिक सम्मेलन के साथ-साथ यातना पीड़ित व्यक्तियों को सम्मानित करने का भी अवसर था। सभा का आरम्भ अनिल चौधरी की चित्र पर माल्यार्पण से हुआ। सभा की भूमिका बांधते हुए सामाजिक कार्यकर्ता डॉक्टर लेनिन ने अनिल चौधरी की शख्शियत और अहमियत पर विस्तार से रोशनी डाली और उनकी याद में पीस के कार्यकर्ताओं को भविष्य में द्विवार्षिक वजीफा और नवदलित सम्मान देने की घोषणा की। इस कार्यक्रम में दिल्ली से आए पीस के कार्यकारी निदेशक जितेंद्र चाहर ने अपने विशिष्ट संबोधन में बहुत विस्तार से अनिल चौधरी की वैचारिक दृष्टि को रेखांकित किया और अपने निजी व पेशेवर अनुभव सुनाते हुए कहा कि अनिल कहते थे कि सामाजिक परिवर्तन कोई प्रोजेक्ट नहीं है, निरंतर चलने वाली एक सामाजिक प्रक्रिया है। पत्रकार अभिषेक श्रीवास्तव ने समुदायों के निर्माण और उनके भीतर उम्मीद का संचार करने के संदर्भ में अनिल चौधरी के कुछ जरूरी सबक और मंत्र गिनवाए। वरिष्ठ पत्रकार विजय विनीत ने पत्रकारिता के अपने निजी अनुभव सुनाए। सभा में फ्रंटपेज प्रकाशन, लंदन के प्रमुख अभिजीत मजूमदार का अंग्रेजी में संबोधन हुआ।सोनभद्र जिले के विभिन्न वंचित समुदायों के यातना पीड़ितों को पीस की ओर से जटई, सोनू, नंदलाल, दिनेश और शिवशंकर को अतिथियों ने शाल ओढ़ाकर सम्मानित किया। इस मौके पर विजय विनीत को पत्रकारिता मे नवदलित सम्मान तथा कवि व्योमेश शुक्ल, कमलेंद्र कुमार सिंह, अधिवक्ता चे ग्वारा रघुवंशी और सामाजिक कार्यकर्ता पिंटू गुप्ता को जनमित्र सम्मान दिया गया। डॉ लेनिन ने वरिष्ठ संपादक ए के लारी, सामाजिक कार्यकर्ता अरविंद मूर्ति, लखनऊ के सामाजिक कार्यकर्त्ता आशीष अवस्थी व ज्ञान को गमछा पहनाकर सम्मानित किया। कार्यक्रम में आए लोगों का धन्यवाद ज्ञापन पीवीसीएचआर की प्रमुख श्रुति नागवंशी ने की।